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6 माह में ईवी बिक्री 25% बढ़ी, कुल 8 लाख वाहन बिके; ई-कारों में 1.3% की ही बढ़ोतरी

6 माह में ईवी बिक्री 25% बढ़ी, कुल 8 लाख वाहन बिके; ई-कारों में 1.3% की ही बढ़ोतरी
 

सितंबर में इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) की बिक्री सालाना आधार पर 25% बढ़ी है। कुल ईवी रजिस्ट्रेशन (सभी सेगमेंट मिलाकर) 1.49 लाख रहे। बीते साल सितंबर में 1.19 लाख ईवी रजिस्टर्ड हुई थी। इस साल में में यह आंकड़ा 1.47 लाख रहा था।

मौजूदा वित्त वर्ष की पहली छमाही (अप्रैल-सितंबर) में 19% वृद्धि दर्ज की गई। इस दौरान कुल 8.37 लाख ईवी रजिस्टर्ड हुए। बीते साल समान अवधि में 7.02 लाख वाहन रजिस्टर्ड हुए थे।

वाहन पोर्टल के मुताबिक मौजूदा वित्त वर्ष की पहली छमाही में इलेक्ट्रिक पैसेंजर व्हीकल (कारें व एसयूवी) की बिक्री 43,120 यूनिट रही। बीते साल समान अवधि में 42,550 ई-पैसेंजर व्हीकल बिके थे। पहली तिमाही में बिक्री 8.6% बढ़कर 22,749 यूनिट पहुंच गई थी। दूसरी तिमाही में बिक्री 6% घटकर 20,141 यूनिट रह गई।
रफ्तारः सितंबर में दोपहिया ईवी की बिक्री 40% बढ़ी, 88 हजार बिकीं

* सितंबर में इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री 88 हजार यूनिट रही। सितंबर 2023 में यह 63 हजार यूनिट और अगस्त 2024 में 87 हजार यूनिट थी। यानी सालाना आधार पर 40% की बढ़ोतरी हुई।

* ओला इलेक्ट्रिक की सितंबर में बिक्री 23,965 यूनिट रही, जो अगस्त 24 में 26,928 यूनिट थी। बजाज ने 18,933 यूनिट बेचे, अगस्त में 16,650 बेचे थे। इससे बजाज को टीवीएस मोटर से आगे निकलकर दूसरा स्थान हासिल करने में मदद मिली।

* इलेक्ट्रिक तिपहिया वाहनों का रजिस्ट्रेशन सितंबर में 54 हजार यूनिट था। सितंबर 2023 में यह 49 हजार यूनिट और अगस्त 2024 में 52 हजार यूनिट था। यानी सालाना आधार पर 10% की बढ़ोतरी।

खपतः देश के चार्जिंग स्टेशन पर बिजली खपत बढ़कर दोगुनी हुई

* मौजूदा वित्त वर्ष की पहली तिमाही में ईवी के पब्लिक चार्जिंग स्टेशनों (पीसीएस) में बिजली खपत सालाना आधार पर दोगुने से अधिक हो गई है। इस दौरान 17.69 करोड़ यूनिट ऊर्जा की खपत हुई, जो सालाना आधार पर 108% से अधिक है।

* भारत में 2023-24 में 16.82 लाख ईवी थी, जो जुलाई 2024 तक 45.75 लाख हो गई हैं। देश में 2030 तक 5 करोड़ ईवी होने का अनुमान है, जिसका बाजार 4 लाख करोड़ रुपए तक पहुंच सकता है।

* फरवरी 2022 में 1,800 पब्लिक चार्जिंग स्टेशन थे, जो मार्च 2024 में 16,347 हो गए। भारत को 40 ईवी पर एक स्टेशन के अनुपात को हासिल करने के लिए सालाना 4 लाख स्टेशन लगाने होंगे।